Dhirendra Shastri Biography In Hindi, Wiki, Age, Family, Father, Education, GrandFather, Career, Birthplace, Networth
नमस्कार दोस्तों आज हम आपको इस पोस्ट मे बताने वाले है भारत के धीरेन्द्र कृष्णा शास्त्री के बारे मे जो बागेश्वर धाम पर बाला जी महाराज का दरबार लगता है। जो की इस धाम का कार्य भार संभालते है, इसी कारण इन्हे बागेश्वर महाराज और बालाजी महाराज के राम से भी जाना जाता है। और लोग धीरेन्द्र कृष्णा शास्त्री को हनुमान जी का भी अवतार मानते है लो अगर आपको इनके बारे मे और भी जानकारी प्राप्त करनी है तो आप हमारी इस पोस्ट को लास्ट तक पढ़ना पड़ेगा |
Dhirendra Shastri Biography In Hindi | धीरेन्द्र शास्त्री का जीवन परिचय
पूरा नाम | धीरेन्द्र कृष्णा शास्त्री |
उपनाम | बागेश्वर धाम महाराज |
जन्म तिथि | 4 जुलाई 1996 |
उम्र | 28 वर्ष 2022 तक |
जन्म स्थान | गड़ा, छतरपुर, मध्य प्रदेश |
जाती | पंडित |
धर्म | हिन्दु |
वैवाहिक स्थिति | अविवाहिक |
राष्ट्रीयता | भारतीय |
नेट वर्थ | 19.5 करोड़ |
धीरेन्द्र शास्त्री का जन्म एवं प्रारम्भिक जीवन
धीरेन्द्र शास्त्री का जन्म 2 जुलाई 1996 को गड़ा, छतरपुर, मध्य प्रदेश में एक ब्राह्मण परिवार मे हुआ था, इन्होंने अपनी शुरुआती जीवन गाव में ही बिताया है और इनका परिवार शुरुआती जीवन मे बहत ही गरीब जिसके कारण इनके पालन पोषण मे बहत अच्छे से नहीं हो पाया था, महाराज धीरेन्द्र कृष्ण को बचपन से आध्यात्मिक चीजें का काफी शौक रहा है। जिसकी शिक्षा उन्होंने अपने दादाजी से प्राप्त की है।
धीरेन्द्र शास्त्री का परिवार
धीरेन्द्र शास्त्री के परिवार मे उनके दादा जी, पिता जी और माता जी और एक छोटे भाई-बहन भी उनका परिवार पहले काफी गरीबी में गुजरा है, जिसके कारण धीरेन्द्र शस्त्री को सुख-सुविधाओं से वंचित रहना पड़ा |
नाम | धीरेन्द्र कृष्णा शास्त्री |
दादा जी का नाम | भगवान दास गर्ग |
पिता जी का नाम | राम कृपाल गर्ग |
माता जी का नाम | सरोज गर्ग |
भाई का नाम | शालिग्राम गर्ग जी महाराज |
बहन का नाम | ज्ञात नहीं |
गुरु जी का नाम | श्री दादा जी महाराज सन्यासी बाबा |
धीरेन्द्र शास्त्री का शिक्षा
धीरेन्द्र शास्त्री जी ने अपना शिक्षा अपने ही गाव के एक स्कूल से प्राप्त कीये है, उसके बाद जब वह उच्च कक्षा मे जाने के बाद उन्हें गांव से 5 किलोमीटर दूर एक सरकारी स्कूल में पढ़ने जाना पड़ता था, फिर उसके बाद से उन्होंने कॉलेज में दाखिला लिया और वहां से उन्होंने अपनी बीए की पढ़ाई पूरी कीये। लेकिन उनका पढ़ाई मे ज्यादा मन नहीं लगने के कारण वह अपने दादा जी से महाभारत, रामायण, भागवत कथा और पुराण महाकाव्य की शिक्षा लेने लगे और फिर दरबार लगाना शुरू कर दिए | जिसके परिणामस्वरूप उन्होंने हनुमान जी की साधना करनी शुरू कर दी और कम उम्र में ही सिद्धि प्राप्त कर ली।
बागेश्वर धाम क्या है
बागेश्वर धाम एक हनुमान जी का मंदिर है जो मध्यप्रदेश के छतरपुर जिले के गड़ा में मौजूद है। यह वही गांव है, जहां धीरेन्द्र कृष्ण का जन्म हुआ था। यहीं पर उनके दादाजी ने समाधि भी ली थी। दुनियाभर के लोग यहां आते हैं और अपने नाम की अर्जी लगाते हैं। यहां पर मंगलवार के अलावा कभी और अर्जी नहीं लगाई जाती। मंगलवार का दिन अर्जी के लिए इसे चुना गया है क्योंकि ये दिन हनुमान जी का दिन होता है।
जो लोग भी यहां आकर अर्जी लगाते हैं वो एक नारियल को लाल कपड़े में बांधकर जरूर लाते हैं। ऐसी मान्यता है कि अगर जो कोई भी इस नारियल को उस मंदिर में बांधकर जाता है उनकी मनोकामना जरूरत पूर्ण होती है। जिसके कारण लाखों लोग यहां मंगलवार को नारियल बांधने आते हैं। यहीं पर लगता है महाराज धीरेन्द्र कृष्ण का भव्य दरबार। जहां आकर लोग अपनी समस्या का समाधान पाते हैं।
धीरेन्द्र कृष्ण शास्त्री के चमत्कार
महाराज धीरेन्द्र कृष्ण एक कथावाचक हैं। वो बागेश्वर धाम में मंगलवार को अपनी गद्दी लगाते हैं। वो लोगों को ये बताते हैं कि, जिस परेशानी में आप हैं उससे कैसे छुटकारा पाया जाए। लेकिन लोगों ने उनके लिए धारणा बनाई है कि, वो बिना बताए लोगों के मन की बात जानकर उसका समाधान कर देते हैं जो कि, सच है। जिसके कारण लोग उन्हें चमत्कारी बाबा भी कहने लगे हैं। लाखों लोग उनके पास जाकर अपनी परेशानी बताकर उनका हल जानते हैं। ऐसा कहा जाता है कि जो भी यहां हाजरी लगाता है वो कभी खाली हाथ वापस नहीं लौटता है। ये हाजरी एक पर्ची के द्वारा लगाई जाती है। जिसपर भक्त सिर्फ अपना नाम लिखता है और बॉक्स में इस पर्ची को डाल देता है। जिसके बाद पर्ची निकाली जाती है और उसे बुलाया जाता है। महाराज उसके बारे में नाम पढ़कर ही सब बता देते हैं। लोगों का कहना है कि, जो भी महाराज कहते हैं अगर वो किया जाए तो कभी आपके कोई भी काम नहीं रूक सकते।