Vaibhav Arora Biography In Hindi, Wiki, Age, Career, IPL Team, Education, Family, Net Worth, Birthplace, Father and Mother
विश्व के सबसे बड़े क्रिकेट लीग आईपीएल में हर युवा खिलाड़ी के पहुंचने का सपना होता है. फिर जब कोई युवा खिलाड़ी एक गरीब परिवार से आता हो, तब उसके लिए यहां तक पहुंचना आसान नहीं होता है. उन्हीं में एक नाम पंजाब किंग्स के दाएं हाथ के तेज गेंदबाज वैभव अरोड़ा का है, जिन्होंने अंबाला से हरियाणा, हरियाणा से हिमाचल, फिर हिमाचल से आईपीएल तक का सफ़र तय किया. इस दौरान वैभव ने काफी मुश्किलों का सामना किया. आर्थिक तंगी के साथ मौका न मिलने पर क्रिकेट छोड़ नौकरी करनी चाही. फिर ऐसी किस्मत पलटी कि जिंदगी बदल गई. आज वैभव दुनिया की सबसे बड़ी लीग IPL का हिस्सा हैं.
Vaibhav Arora Biography In Hindi | वैभव अरोड़ा का जीवन परिचय
पूरा नाम | वैभव गोपाल अरोड़ा |
उपनाम | वैभव अरोड़ा |
जन्म तिथि | 14 दिसम्बर 1997 |
जन्म स्थान | अंबाला, हरियाणा |
उम्र | 25 वर्ष |
आईपीएल टीम 2022 | पंजाब किंग्स |
पेशा | क्रिकेटर |
राष्ट्रीयता | भारतीय |
धर्म | हिन्दू |
राशि का नाम | धनु राशि |
वैभव अरोड़ा का जन्म एवं प्रारम्भिक जीवन (Vaibhav Arora Birth and Early Life)
वैभव अरोड़ा का पूरा नाम वैभव गोपाल अरोड़ा है । इनका जन्म 14 दिसम्बर 1997 को अंबाला के एक साधारण परिवार में हुआ था. इनके पिता गोपाल अरोड़ा दूध बेचने का काम करते हैं. उनकी अंबाला में एक डेयरी है. वैभव भी अपने पिता के कामों में उनका हाथ बटाते थे. बचपन से ही उन्हें स्पोर्ट्स में बड़ी दिलचस्पी थी. समय बीतता गया वैभव क्रिकेट खेलने के साथ स्केटिंग करने लगे. अंत में उन्होंने क्रिकेट में करियर चुना.
अपने एक इंटरव्यू में वैभव बताते हैं “क्रिकेट से पहले मैं स्केटिंग करता था. जिसमें मैंने राष्ट्रीय स्तर पर कांस्य पदक भी जीता, मगर ज्यादा शोहरत और मदद न मिलने के कारण अंबाला की गलियों में टेनिस की बॉल से क्रिकेट खेलना शुरू कर दिया”. वैभव क्रिकेट में अपना करियर बनाना चाहते थे. जो एक साधारण संयुक्त परिवार से ताल्लुक रखने की वजह से आसान नहीं था. दूध की डेयरी से हुई आमदनी से बड़ी मुश्किल से घर चलता था. परिवार को आर्थिक तंगी का भी सामना करना पड़ा. बावजूद इसके पिता ने बेटे वैभव को सपोर्ट किया. उन्हें क्रिकेट खेलने के लिए प्रेरित किया.
वैभव को क्रिकेट ट्रेनिंग के लिए चंडीगढ़ की तरफ रुख करना पड़ा. वहां DAV सीनियर सेकंडरी स्कूल में दाखिला ले लिया. यहीं मशहूर क्रिकेट अकादमी में क्रिकेट ट्रेनिंग लेने लगे. जहां से भारतीय क्रिकेट के दिग्गज आलराउंडर कपिल देव ने अपना क्रिकेट का सफ़र शुरू किया था. इस बारे में वैभव अरोड़ा बताते है कि जब मैं 9 वीं कक्षा में था. तब घर छोड़कर चंडीगढ़ की तरफ रुख किया. मेरे पिता मुझे लेकर काफी डरे हुए थे. क्योंकि मैं अभी तक परिवार से कभी दूर नहीं रहा था. लेकिन उन्होंने मुझे हौसला दिया.
वैभव अपने सपने को पूरा करने के लिए घर से दूर चंडीगढ़ चले गए. वहां कोच के रूप में रवि वर्मा का साथ मिला. कोच वैभव को क्रिकेट की बारीकियों को सिखाने लगे. ट्रेनिंग के दौरान वैभव जमकर पसीना बहाते. कोच की मेहनत और अपने लगन से वैभव एक तेज गेंदबाज के रूप में उभर कर सामने आए. वे क्रिकेट ट्रेनिंग के दौरान पंजाब से खेलने के लिए ट्राई करते रहे. मगर निराशा हाथ लगी. पंजाब की टीम उन्हें 7 साल तक नज़रअंदाज करती रही. परिवार आर्थिक तंगियों से भी जूझ रहा था. ऐसे में वैभव क्रिकेट छोड़ नौकरी करने की सोची. उनके हालात को देखते हुए कोच रवि ने उन्हें सहारा दिया. उन्हें फ्री में रहने की जगह दी.
वैभव अरोड़ा का शिक्षा (Vaibhav Arora Education)
नाम | वैभव अरोड़ा |
शिक्षा (schooling) | DAV Senior Secondary शिक्षा (schooling), Chandigarh Lord Mahavir Jain Public school,Ambala Cant |
कॉलेज (College)/Universitys | Chandigarh Universitys |
शैक्षिक योग्यता (Educational Qualification) | BA-B.Ed |
वैभव अरोड़ा का आईपीएल करियर (Vaibhav Arora IPL Career)
वैभव अरोड़ा को सैयद मुश्ताक अली ट्रॉफी में शानदार गेंदबाजी का इनाम मिला. आईपीएल 2021 की नीलामी में 20 लाख बेस प्राइस पर केकेआर (KKR) ने उन्हें खरीद कर टीम में शामिल कर लिया. जहां पैट कमिंस और फर्गुसन जैसे अनुभवी गेंदबाजों से भी उन्हें सीखने को मिलेगा. फिलहाल, वैभव आईपीएल में ख़रीदे जाने से पहले ही बतौर नेट गेंदबाज किंग्स इलेवन पंजाब की टीम के साथ जुड़ चुके थे.
इस बार आईपीएल 2022 मे वैभव अरोड़ा को पंजाब किंग ने 2 करोड रुपये खर्च कर अपने टीम मे शामिल किया है।
वैभव अरोड़ा के बारे में कुछ तथ्य (Fact About Vaibhav Arora)
- वैभव अरोड़ा एक इंडियन क्रिकेटर हैं जो घरेलू सर्किट में हिमाचल प्रदेश राज्य टीम और इंडियन प्रीमियर लीग में कोलकाता नाइट राइडर्स के लिए एक गेंदबाज के रूप में खेलते हैं।
- वैभव अरोड़ा एक विनम्र पृष्ठभूमि के थे, उनके पिता अंबाला कैंट के पंजाबी मोहल्ला में स्थित हरबंस मिल्क डेयरी के नाम से एक डेयरी के मालिक हैं। वह मवेशियों की देखभाल और घरों में दूध पहुंचाकर अपने पिता की मदद करता था।
- वैभव अरोड़ा चंडीगढ़ चले गए और 2011 में डीएवी सीनियर सेकेंडरी स्कूलिंग में शामिल हो गए, इसकी विश्व स्तरीय क्रिकेट अकादमी के लिए जाना जाता है। यह उस स्थान के रूप में भी प्रसिद्ध है जहां इंडियन क्रिकेट के दिग्गज कपिल देव ने अपनी क्रिकेट यात्रा शुरू की थी। एक साक्षात्कार में अपनी यात्रा के बारे में साझा करते हुए। उसने कहा-:
- वैभव अरोड़ा 2018 में पंजाब अंडर -19 टीम में पर्याप्त अवसर पाने में ना वर्क रहने के बाद चंडीगढ़ से हिमाचल प्रदेश चले गए। वह हिमाचल प्रदेश राज्य टीम में शामिल होने के बाद 21 साल की उम्र में एक पेशेवर बन गए।
रणजी ट्रॉफी में प्रथम श्रेणी मैच के दौरान वैभव अरोड़ा
- वैभव अरोड़ा ने अपने डेब्यू पर चेतेश्वर पुजारा के लिए मिडिल स्टंप्स पर दस्तक देकर बेशकीमती विकेट लिया । उन्होंने उस रणजी मैच में सौराष्ट्र के खिलाफ अपना सर्वश्रेष्ठ प्रदर्शन 9/105 दर्ज किया था। उन्होंने 8 प्रथम श्रेणी मैचों में 18.58 की औसत से 29 विकेट लिए हैं।
वैभव अरोड़ा मैच के बाद जहां उन्होंने सौराष्ट्र के खिलाफ 9 विकेट चटकाए
वैभव अरोड़ा ने हिमाचल प्रदेश के लिए वडोदरा 0n 10 जनवरी 2021 को छत्तीसगढ़ के खिलाफ अपना टी20 डेब्यू किया । उन्होंने मैच में 2 विकेट लिए और 6.00 रन प्रति ओवर की इकॉनमी से गेंदबाजी की। उन्होंने 6 टी20 मैचों में 10 विकेट चटकाए हैं जिससे उनकी टीम हिमाचल प्रदेश को सैयद मुश्ताक अली ट्रॉफी के क्वार्टर फाइनल में पहुंचने में मदद मिली।
सैयद मुश्ताक अली ट्रॉफी में तमिलनाडु के खिलाफ वैभव अरोड़ा
- 21 फरवरी 2021 को, वैभव अरोड़ा ने विजय हजारे ट्रॉफी में जयपुर में महाराष्ट्र के खिलाफ हिमाचल प्रदेश के लिए अपनी लिस्ट-ए की शुरुआत की। उन्होंने उस मैच में एक उल्लेखनीय हैट्रिक ली और अपनी लिस्ट-ए की शुरुआत में हैट्रिक लेने वाले पहले खिलाड़ी बन गए। उन्होंने कुल 5 लिस्ट-ए मैच खेले हैं और 5.16 रन प्रति ओवर की इकॉनमी से गेंदबाजी करते हुए 8 विकेट लिए हैं।
- वैभव अरोड़ा आईपीएल 2020 के दौरान यूएई में पंजाब किंग्स के लिए एक नेट गेंदबाज के रूप में शामिल हुए। यह उनके लिए एक महान सीखने की अवस्था थी क्योंकि केएल राहुल , क्रिस गेल , ग्लेन मैक्सवेल , मयंक अग्रवाल जैसे खिलाड़ियों ने उनके आत्मविश्वास को बढ़ाया। उन्होंने एक साक्षात्कार में अनुभव का वर्णन किया, जहां उन्होंने कहा -:
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