वरुण सिंह भाटी का जीवन परिचय | Varun Singh Bhati Biography In Hindi
वरुण एक उच्च जम्प खिलाड़ी है, जो अपने इस खेल में भारत के शीर्ष एथलीट में से एक है. बचपन से विकलांग वरुण को एक पैर में पोलियो है. वरुण ने अपनी प्रतिभा से रियो 2016 में सबका ध्यान अपनी ओर आकर्षित किया है. इन्होने 10 सितम्बर 2016 को रियो पैरालिम्पिक खेल के दौरान पुरुष हाई जम्प में ब्रोंज मैडल जीत कर, भारत का नाम बहुत गौरवान्वित किया है.
पूरा नाम | वरुण सिंह भाटी |
जन्म | 13 फ़रवरी 1995 |
जन्म स्थान | जमालपुर गाँव, नॉएडा |
पिता का नाम | हेम सिंह भाटी |
कोच | सत्यनारायण |
उम्र | 21 |
राष्ट्रीयता | भारतीय |
खेल | पैरा एथलेटिक्स हाई जम्प |
हाईट | 5 फीट 11 इंच |
धर्म | हिन्दू |
दसवीं क्लास में शुरू किया हाईजंप
- -वरुण हाईजंप इस तरह करता था, मानों यह खेल उसी के लिए बना हो।
- -ऐसे में इसी खेल को हथियार बनाकर वरुण ने हाईजंप शुरू किया।
- -जीत को हासिल करने के लिए वो हर दिन 6 से 7 घंटे तक प्रैैक्टिस करता था।
- -यहीं कारण है कि एक के बाद एक उसने खेलों में मेडल हासिल किए।
स्टेट लेवल तक खेल चुके हैं बास्केट बॉल
- वरुण भाटी ग्रेटर नोएडा स्थित जलालपुर के निवासी हैं। यहां के सेंट जोसफ स्कूल से प्रारंभिक शिक्षा ली है।
- उन्होंने दिल्ली यूनिवर्सिटी से बीएससी की पढ़ाई पूरी की।
- वरुण स्टेट लेवल तक बास्केट बॉल खेल चुके हैं। पोलियो के कारण स्टेट स्तर से आगे उनका सिलेक्शन नहीं हो पाया।
- वरुण की बहन कृति पावर लिफ्टिंग में स्टेट स्तर पर स्वर्ण और भाई प्रवीण फुटबॉल और हाईजंप में नेशनल लेवल के खिलाड़ी है।
- उनके पिता हेम सिंह शहर में स्थित बहुराष्ट्रीय कार फैक्ट्री में मैन्यूफेक्चरर एसोसिएट के पद पर कार्यरत हैं।
- वरुण को बेहतर प्रशिक्षण के लिए बेंगलुरु में कोच सत्यनारायण प्रशिक्षित कर रहे हैं।
- उनके पिता ने बताया कि बेटे की जीत के बाद उनका सीना खुशी से चौड़ा हो गया है।
- पूरे परिवार ने रात से लेकर सुबह 5 बजे जक वरुण का मैच देखा। बेटे के ब्रॉन्ज जीतते ही पूरा परिवार खुशी से झूम उठा।
- सुबह होते ही उनके घर बधाई देने वालों का तांता लग गया।
वरुण सिंह भाटी शिक्षा (Varun Singh Bhati Education)
वरुण ने स्कूल की पढाई सेंट जोसेफ स्कूल से की थी. यही से उनके खेल को बढ़ावा मिला. स्कूल के स्पोर्ट्स डे में वरुण बढ़ चढ़ के हिस्सा लेते थे. और दोनों में ही अच्छे से आगे बढ़ते जा रहे थे. वरुण की इस प्रतिभा को उनके स्कूल वालों ने समझा और उन्हें बहुत सपोर्ट किया. इसके बाद वरुण को राष्ट्रीय स्तर के एथलीट सत्यनारायण जी का साथ मिला, जिन्होंने वरुण की योग्यता को भांपते हुए, उन्हें सही दिशा में ट्रेनिंग देना शुरू किया. वरुण अभी बीएससी मैथ्स के छात्र है.
वरुण सिंह भाटी करियर (Varun Singh Bhati Career)
वरुण को दुनिया में सब लोगों ने तब जाना, जब सन 2012 में लन्दन के पैरालिम्पिक खेल में उन्हें A ग्रेड के साथ क्वालिफाइड हुए. उन्होंने यहाँ अपनी परफॉरमेंस 1.60 मिनट में पूरी की. हालाँकि यहाँ लन्दन के इस पैरालिम्पिक में सीमित सीट थी, जिस वजह से वरुण का नाम हटा दिया गया था. इस समय वरुण की उम्र मात्र 17 साल थी.
इसके बाद सन 2014 में वरुण ने कोरिया में ‘एशियन पैरा गेम्स’ में हिस्सा लिया. जहाँ वरुण हाई जम्प में पांचवें स्थान में रहे. इसी साल चाइना में ‘ओपन एथलेटिक्स चैंपियनशिप’ में वरुण ने गोल्ड मैडल जीतकर भारत का बहुत ऊँचा कर दिया.
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